भोपाल। शैक्षणिक सत्र २क्१२-१३ से प्रदेश के सभी विश्वविद्यालयों की परीक्षाएं एक ही समय पर आयोजित होंगी और इनके नतीजे भी एक साथ घोषित किए जाएंगे। सेमेस्टर सिस्टम में सुधार के लिए उच्च शिक्षा विभाग यह व्यवस्था बनाने जा रहा है।
इस कार्य में समन्वय के लिए प्रदेश की किसी एक यूनिवर्सिटी को नोडल एजेंसी बनाया जाएगा। इस मसले पर चर्चा के लिए सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और कुलसचिवों की बैठक राजधानी में अगस्त के पहले सप्ताह में आयोजित होगी। अकादमिक कैलेंडर के अनुसार यूजी पहले, तीसरे और पांचवें सेमेस्टर की परीक्षाएं नवंबर में होनी हैं। ये परीक्षाएं तय समय पर शुरू हो सकें, इसी मकसद से बैठक बुलाई गई है।
यह रहेगा कार्यक्रम
यूजी फस्र्ट, थर्ड और फिफ्थ सेमेस्टर के लिए कार्यक्रम
क्लासेस - 2 जुलाई से शुरू हो गई हैं जो 3 नवंबर तक चलेंगी
प्रिपरेशन लीव - 4 नवंबर से 7 नवंबर तक
परीक्षा - 8 नवंबर से 11 दिसंबर तक
रिजल्ट - 31 दिसंबर तक
सेमेस्टर ब्रेक - 15 दिसंबर से 31 दिसंबर तक
यूजी सेकंड, फोर्थ और सिक्सथ सेमेस्टर के लिए कार्यक्रम
क्लासेस - 1 जनवरी से 15 अप्रैल तक
प्रिपरेशन लीव - 16 अप्रैल से 20 अप्रैल तक
परीक्षा - 22 अप्रैल से 20 मई तक
रिजल्ट - 15 जून तक
सेमेस्टर ब्रेक - 20 मई से 20 जून
10 महीने में पूरा हो रहा था छह माह का सेमेस्टर
- यह देखने में आ रहा था कि सभी विश्वविद्यालय अपने-अपने तरीके से परीक्षाएं आयोजित कर रहे थे।
- छह महीने का सेमेस्टर सिस्टम किसी यूनिवर्सिटी में सात महीने में पूरा हो रहा था तो किसी में १क् महीने में।
- भोपाल के बरकतउल्ला विवि और जबलपुर के रानी दुर्गावती विवि की स्थिति सबसे खराब थी। दोनों में आलम यह था कि तीन साल के कोर्स पांच साल में पूरे हो रहे थे।
- कॉलेज के प्रोफेसरों की भी यह शिकायत आम हो चुकी थी कि सेमेस्टर सिस्टम के कारण सालभर परीक्षाएं ही चलती रहती हैं।
- इसके अलावा परीक्षाओं के नतीजे घोषित करने में भी विलंब हो रहा था। सबसे ज्यादा परेशानी अंतिम सेमेस्टर के छात्रों को हो रही थी। वजह साफ थी, नतीजे देरी से आने से वे नौकरी के लिए कहीं आवेदन नहीं कर पा रहे थे।
एक्सपर्ट व्यू
- सेमेस्टर के कोर्स तय समय में पूरे हो सकेंगे।
- नतीजे घोषित करने में देरी नहीं होगी।
- सालभर परीक्षाओं के अलावा अन्य गतिविधियां भी आयोजित हो सकंेगी।
- अध्यापन कार्य के लिए छात्रों को पर्याप्त समय मिल सकेगा।
- छात्र तय समय सीमा में प्रदेश के बाहर भी एडमिशन ले सकेंगे।
-डॉ. संतोष श्रीवास्तव, पूर्व कुलपति, बीयू
यूनिवर्सिटी अपने स्तर पर पेपर सेट करेंगी, लेकिन परीक्षा आयोजित करने की तारीख और समय सभी विश्वविद्यालयों में एक समान रहेगा। नतीजे भी एक साथ घोषित होंगे।
-डॉ. वीएस निरंजन, कमिश्नर, उच्च शिक्षा
इस कार्य में समन्वय के लिए प्रदेश की किसी एक यूनिवर्सिटी को नोडल एजेंसी बनाया जाएगा। इस मसले पर चर्चा के लिए सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और कुलसचिवों की बैठक राजधानी में अगस्त के पहले सप्ताह में आयोजित होगी। अकादमिक कैलेंडर के अनुसार यूजी पहले, तीसरे और पांचवें सेमेस्टर की परीक्षाएं नवंबर में होनी हैं। ये परीक्षाएं तय समय पर शुरू हो सकें, इसी मकसद से बैठक बुलाई गई है।
यह रहेगा कार्यक्रम
यूजी फस्र्ट, थर्ड और फिफ्थ सेमेस्टर के लिए कार्यक्रम
क्लासेस - 2 जुलाई से शुरू हो गई हैं जो 3 नवंबर तक चलेंगी
प्रिपरेशन लीव - 4 नवंबर से 7 नवंबर तक
परीक्षा - 8 नवंबर से 11 दिसंबर तक
रिजल्ट - 31 दिसंबर तक
सेमेस्टर ब्रेक - 15 दिसंबर से 31 दिसंबर तक
यूजी सेकंड, फोर्थ और सिक्सथ सेमेस्टर के लिए कार्यक्रम
क्लासेस - 1 जनवरी से 15 अप्रैल तक
प्रिपरेशन लीव - 16 अप्रैल से 20 अप्रैल तक
परीक्षा - 22 अप्रैल से 20 मई तक
रिजल्ट - 15 जून तक
सेमेस्टर ब्रेक - 20 मई से 20 जून
10 महीने में पूरा हो रहा था छह माह का सेमेस्टर
- यह देखने में आ रहा था कि सभी विश्वविद्यालय अपने-अपने तरीके से परीक्षाएं आयोजित कर रहे थे।
- छह महीने का सेमेस्टर सिस्टम किसी यूनिवर्सिटी में सात महीने में पूरा हो रहा था तो किसी में १क् महीने में।
- भोपाल के बरकतउल्ला विवि और जबलपुर के रानी दुर्गावती विवि की स्थिति सबसे खराब थी। दोनों में आलम यह था कि तीन साल के कोर्स पांच साल में पूरे हो रहे थे।
- कॉलेज के प्रोफेसरों की भी यह शिकायत आम हो चुकी थी कि सेमेस्टर सिस्टम के कारण सालभर परीक्षाएं ही चलती रहती हैं।
- इसके अलावा परीक्षाओं के नतीजे घोषित करने में भी विलंब हो रहा था। सबसे ज्यादा परेशानी अंतिम सेमेस्टर के छात्रों को हो रही थी। वजह साफ थी, नतीजे देरी से आने से वे नौकरी के लिए कहीं आवेदन नहीं कर पा रहे थे।
एक्सपर्ट व्यू
- सेमेस्टर के कोर्स तय समय में पूरे हो सकेंगे।
- नतीजे घोषित करने में देरी नहीं होगी।
- सालभर परीक्षाओं के अलावा अन्य गतिविधियां भी आयोजित हो सकंेगी।
- अध्यापन कार्य के लिए छात्रों को पर्याप्त समय मिल सकेगा।
- छात्र तय समय सीमा में प्रदेश के बाहर भी एडमिशन ले सकेंगे।
-डॉ. संतोष श्रीवास्तव, पूर्व कुलपति, बीयू
यूनिवर्सिटी अपने स्तर पर पेपर सेट करेंगी, लेकिन परीक्षा आयोजित करने की तारीख और समय सभी विश्वविद्यालयों में एक समान रहेगा। नतीजे भी एक साथ घोषित होंगे।
-डॉ. वीएस निरंजन, कमिश्नर, उच्च शिक्षा
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